**जय श्री राधे कृष्णा जी* *शुभरात्रि वंदन* इस धरा पर चाहे नर हो या नारायण सबको अपने पूर्व कर्मों के अनुसार फल भोगना पड़ता है। नारद मुनि के श्राप के कारण ही भगवान विष्णु को राम रूप में अवतार लेकर देवी सीता से वियोग सहना पड़ा था। कई बार ऐसा देखा जाता है कि ईश्वर अवतार की कुछ घटनाएं हमें काल्पनिक प्रतीत होती हैं या फिर हमें उन घटनाओं पर तनिक संदेह होता है एसे ही कल किसी बंधुजन ने माता सीता की अग्नि परीक्षा के पोस्ट पर अपने विचार रखते हुए प्रभु श्रीराम पर प्रश्न चिन्ह लगा दिया कि माता जब वन में थी तो आखिर प्रभु श्रीराम ने माता को ढूंढने का प्रयास क्यों नहीं किया।आखिर क्यों जननी माँ को इतने कष्ट झेलने पड़े। आइए समझने का प्रयास करते हैं। हिंदू धर्म की मान्यता के अनुसार, नारद मुनि के श्राप के कारण ही भगवान विष्णु को राम रूप में अवतार लेकर देवी सीता से वियोग सहना पड़ा था। देवर्षि नारद को एक बार इस बात का अभिमान हो गया कि कामदेव भी उनकी तपस्या और ब्रह्मचर्य को भंग नहीं कर सकते। नारदजी ने यह बात शिवजी को बताई। देवर्षि के शब्दों में अहंकार झलक रहा था, शिवजी यह समझ चुके थे कि नारद अभिमानी हो गए हैं। भोलेनाथ ने नारद से कहा कि भगवान श्रीहरि के सामने अपना अभिमान इस प्रकार प्रदर्शित मत करना। इसके बाद नारद जी भगवान विष्णु के पास गए और शिवजी के समझाने के बाद भी उन्होंने श्रीहरि को पूरा प्रसंग सुना दिया। नारद भगवान विष्णु के सामने भी अपना अभिमान दिखा रहे थे, तब भगवान ने सोचा कि नारद का अभिमान तोड़ना ही होगा, यह शुभ लक्षण नहीं है। जब नारद कहीं जा रहे थे, तब रास्ते में उन्हें एक बहुत ही सुंदर नगर दिखाई दिया, जहां किसी राजकुमारी के स्वयंवर का आयोजन किया जा रहा था। नारद भी वहां पहुंच गए और राजकुमारी को देखते ही मोहित हो गए। यह सब भगवान श्रीहरि की माया थी। राजकुमारी का रूप और सौंदर्य नारद के तप को भंग कर चुका था। इस कारण उन्होंने राजकुमारी के स्वयंवर में हिस्सा लेने का मन बनाया। नारद भगवान विष्णु के पास गए और कहा कि आप अपना सुंदर रूप मुझे दे दीजिए और मुझे हरि जैसा बना दीजिए। हरि का दूसरा अर्थ ‘वानर’ भी होता है। नारद ये बात नहीं जानते थे। भगवान ने ऐसा ही किया, लेकिन जब नारद मुनि स्वयंवर में गए तो उनका मुख वानर के समान हो गया। उस स्वयंवर में भगवान शिव के दो गण भी थे, वे यह सभी बातें जानते थे और ब्राह्मण का वेश बनाकर यह सब देख रहे थे। जब राजकुमारी स्वयंवर में आई तो वानर के मुख वाले नारदजी को देखकर बहुत क्रोधित हुई। उसी समय भगवान विष्णु एक राजा के रूप में वहां आए। सुंदर रूप देखकर राजकुमारी ने उन्हें अपने पति के रूप में चुन लिया। यह देखकर शिवगण नारदजी की हंसी उड़ाने लगे और कहा कि पहले अपना मुख दर्पण में देखिए। जब नारदजी ने अपने चेहरा वानर के समान देखा तो उन्हें बहुत गुस्सा आया। नारद मुनि ने उन शिवगणों को अपना उपहास उड़ाने के कारण राक्षस योनी में जन्म लेने का श्राप दे दिया। शिवगणों को श्राप देने के बाद नारदजी भगवान विष्णु के पास गए और क्रोधित होकर उन्हें बहुत भला-बुरा कहने लगे। माया से मोहित होकर नारद मुनि ने श्रीहरि को श्राप दिया कि जिस तरह आज मैं स्त्री का वियोग सह रहा हूं उसी प्रकार मनुष्य जन्म लेकर आपको भी स्त्री वियोग सहना पड़ेगा। उस समय वानर ही तुम्हारी सहायता करेंगे. भगवान विष्णु ने कहा-ऐसा ही हो और नारद मुनि को माया से मुक्त कर दिया। तब नारद मुनि को अपने कटु वचन और व्यवहार पर बहुत ग्लानि हुई और उन्होंने भगवान श्रीहरि से क्षमा मांगी। परंतु दयालु श्रीहरि ने नारद को क्षमा करते हुए कहा कि ये उनकी ही माया थी। इस प्रकार नारद के दोनों श्राप फलीभूत हुए और भगवान विष्णु को राम रूप में जन्म लेकर अपनी पत्नी सीता का वियोग सहना पड़ा। जबकि शिवगणों ने राक्षस योनि में जन्म लिया। संदेश -इस धरा पर चाहे नर हो या नारायण सबको अपने पूर्व कर्मों के अनुसार फल भोगना पड़ता है। हम सत्संग ,हरि नाम के सहारे अपना कष्ट कम कर सकते हैं परंतु मुक्ति नहीं पा सकते।
कामेंट्स
vedprakash Mar 4, 2021
जय श्री कृष्ण
Shanti Pathak Mar 4, 2021
@कृष्णाकृष्णाजगमगहुआरेअँगना 🌷🙏जय श्री राधे कृष्णा जी🙏 सादर सस्नेह प्रणाम भाई🌷आपका हर पल शुभ एवं मंगलमय हो🌷ईश्वर की असीम कृपा आप एवं आपके परिवार पर सदैव बनी रहे भाई🌷आपका आनेवाला हर पल खुशियों भरा रहे🌷आप हर पल स्वस्थ रहें एवं खुश रहें भाई🌷शुभरात्रि नमन भाई🌷🙏🙏🙏🌷
Sanjay Rastogi Mar 4, 2021
jai shri Radhe krishna ji subh Ratri vandan didi Radhe Radhe
Vinod Kumar Rana Mar 4, 2021
jai jai Shri RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe RadheRadhe
💥Radha Sharma💥 Mar 4, 2021
जय श्री राधे कृष्णा प्यारी बहना जी 🙏
💥Radha Sharma💥 Mar 4, 2021
शुभ रात्रि वंदन जी 🙏
💥Radha Sharma💥 Mar 4, 2021
@sanjayrastogi2 good night brother ji.. 🙏🌷🙏
आचार्य पं अजय कुमार तिवारी Mar 4, 2021
जय श्री राधे राधे जी आप कैसे हैं
Mavjibhai patel Mar 4, 2021
जय माता दी
Renu Singh Mar 4, 2021
Jai Shree Radhe Krishna 🙏 Shubh Ratri Vandan Pyari Bahena Ji 🙏🌹 Thakur ji Aapko aur Aàpke Pariwar ko sda Sukhi aur Swasth rakhein Bahena Ji 🙏🌹🙏🌹
BALRAM KARISHNA Mar 4, 2021
Jai Shri Radhe Radhe Karishna ji
BALRAM KARISHNA Mar 4, 2021
Om Namo Bhagwate Vaasudevay Namo ji
Brajesh Sharma Mar 4, 2021
जय श्री राधे राधे जी जय श्री राधे कृष्णा जी... ॐ नमः शिवाय.. हर हर महादेव
pramod singh Mar 5, 2021
जय श्री राधे कृष्णा जी
Dhananjay Khanna Mar 5, 2021
Jai Mata Di 🙏🙏🙏🙏🙏 Radhey Radhey ji 🙏🙏🌹🌹🌹🌹🌹🌹 May Matarani bless you all with her choicest blessings 🚩🚩🚩🚩🚩
babulal Mar 5, 2021
jay shree krishna ji
babulal Mar 5, 2021
radhe radhe ji
रामलाल परसैया Mar 5, 2021
जय सिरी राधे राधे जी जय राम जी की
BK WhatsApp STATUS Mar 5, 2021
जय श्री कृष्ण शुभ प्रभात स्नेह वंदन धन्यवाद 🌹🙏
vinu Kataria Mar 5, 2021
jai shri Krishna shubh Ratri